MP Big News: मध्यप्रेदश (MP) में अब खुले में तथा बिना अनुमति के मांस और मछली के विक्रय पर रोक (Ban on sale of meat and fish without permission) लगा दी गई है और शहरी विकास विभाग (Urban Development Department) ने 15 दिन के विशेष अभियान के निर्देश दिए हैं।
शहरी विकास विभाग (Urban Development Department) ने निर्देश में कहा है कि मध्यप्रेदश (MP) के विभिन्न शहरों में सामान्यतः किसी भी प्रकार के व्यवसाय, दुकान, बाजार या रेहड़ी आदि लगाने के लिए नगरीय निकायों (urban bodies) द्वारा मध्यप्रदेश नगर पालिक निगम अधिनियम 1956 (Madhya Pradesh Municipal Corporation Act 1956) एवं अन्य सुसंगत अधिनियमों के अंतर्गत अनुज्ञा/अनुमति/अनापत्ति दी जाती है। विशेष रूप से, किसी भी प्रकार के मांस एवं मछली की बिक्री के लिए नगरीय विकास विभाग (Urban Development Department) के अधिनियमों के अतिरिक्त खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम, 2006 के प्रावधान लागू होते हैं, जिसके अंतर्गत जिलों के मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा मांस एवं मछली के विक्रय के संबंध में अतिरिक्ति शर्तें लगाई जाती हैं। इन अधिनियम के अंतर्गत जारी निर्देशों में यह स्पष्ट उल्लेख है कि मांस एवं मछली के विकय के समस्त प्रतिष्ठानों में अपारदर्शी कांच / दरवाजा एवं साफ-सफाई की सम्पूर्ण व्यवस्था होना चाहिए।
खुले में मांस तथा मछली की बिक्री पर रोक (Ban on sale of meat and fish without permission) के अतिरिक्त किसी भी धार्मिक स्थल के मुख्य द्वार के सामने 100 मीटर की दूरी के भीतर उनका विकय या प्रदर्शन भी प्रतिबंधित है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव (Chief Minister Mohan Yadav) मध्यप्रेदश (MP) के निर्देशों पर नगरीय विकास एवं आवास विभाग (Urban Development and Housing Department) द्वारा बुधवार को इस संबंध में एक सघन 15 दिवसीय अभियान के निर्देश सभी जिला कलेक्टरों, नगरीय निकायों के आयुक्तों / मुख्य नगर पालिका अधिकारियों को जारी किए गए हैं, जिसमें उक्त अधिनियमों / नियमों एवं लायसेंस की शर्तों का पालन कड़ाई से कराने के निर्देश दिए गए हैं। यह अभियान नगरीय निकाय के अतिक्रमण निरोधी दस्ते तथा स्वास्थ्य अमले के अतिरिक्त, जिला प्रशासन व पुलिस प्रशासन एवं मुख्य चिकित्सा अधिकारियों के साथ समन्वय कर चलाया जाएगा।
मुख्य सचिव मध्यप्रेदश (MP) वीरा राणा द्वारा उक्त अभियान की प्रतिदिन रिपोर्ट लेने के निर्देश दिए गए हैं, जिस संबंध में विभाग द्वारा कृत कार्यवाही की मॉनिटरिंग एवं प्रभावी कियान्वयन हेतु तैयारी की गई है।
यह अभियान 15 दिसम्बर से प्रारम्भ होकर 31 दिसम्बर तक सघन रूप से चलाया जाएगा एवं इसके पश्चात किसी भी प्रकार से शहरी क्षेत्रों में उक्त निर्देशों का उल्लंघन ना हो, यह सुनिश्चित किया जाएगा।
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