Ministry of Coal: भारत (India) में प्रति व्यक्ति बिजली की खपत विश्व औसत (world average) का एक तिहाई है और इसमें काफी वृद्धि होने वाली है। इसमें अधिकांश योगदान कोयला आधारित ताप विद्युत संयंत्रों (power plants) का होगा।
अपर सचिव और नामांकित प्राधिकारी (Coal) एम. नागराजू ने कहा कि मंत्रालय कोयले (Ministry Coal) की मांग को पूरा करने के लिए विभिन्न उपाय कर रहा है और पिछले चार वर्षों में वाणिज्यिक उपयोग के लिए 91 कोयला खदानों (auctioned 91 coal mines) की नीलामी की है। उन्होंने बताया कि एक कोयला खदान का वित्तपोषण पहले ही पूरा हो चुका है और दो कोयला खदान (coal mines) परियोजनाओं को वित्तीय सहायता देने के लिए मूल्यांकन अंतिम चरण में है। समझौतों में ऋणदाताओं के हितों की रक्षा का प्रावधान भी किया गया है। यह क्षेत्र मजबूत और जिम्मेदार बन रहा है और उन्होंने आरईसी से कोयला खनन क्षेत्र (coal mining sector) में निवेश पर विचार करने और कोयला खदानों (coal mines) को वित्तीय सहायता प्रदान करने का आग्रह किया, जिससे इसके तेजी से संचालन में मदद मिलेगी।
कार्यशाला में भाग लेने वाले आवंटित कोयला ब्लॉकों (coal blocks) के प्रतिनिधियों और कोयला खदानों के एमडीओ ने आत्मनिर्भर भारत की दिशा में कोयला क्षेत्र (coal sector) को समर्थन देने के लिए कोयला मंत्रालय (Ministry of Coal) और आरईसी (REC) द्वारा की गई पहल की सराहना की।
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