CIL: भारत (India) को महारत्न कंपनी कोल इंडिया लिमिटेड (Maharatna company Coal India Limited) दुनियाभर में भारत (India) का नाम रोशन कर रही है, लेकिन ये कोल इंडिया (Coal India) अपने जिन कोल कर्मियों (coal workers) के सहारे इतना ताकतवर बना है, उन्हीं कोल कर्मियों (coal workers) में जो जिंदगी के लिए जंग लड़ रहे हैं उन्हें सहारा देने के बजाए कोल इंडिया (Coal India) बेसहारा करने को उतारू है।
जी हां, ये बात चकित करने वाली जरूर है लेकिन ये कोल इंडिया (Coal India) के कोयले (Coal) से भी अधिक काला सच है। ये मामला मेडिकल अनफिट (medical unfit) यानी 9.4.0 की बहाली की मांग से जुड़ा है। दरअसल, कोल इंडिया (Coal India) के जो कोल कर्मी किसी गंभीर बीमारी या एक्सीडेंट के कारण शारीरिक रूप से अक्षम हो गये हैं, उन्हें सीआईएल (CIL) के जेबीसीसीआई (JBCCI) के नियमों के तहत उसकी सहयोगी कंपनियां मेडिकली अनफिट (medically unfit) नहीं कर रही हैं। तभी तो मेडिकल अनफिट (medical unfit) यानी 9.4.0 की मांग शारीरिक रूप से अक्षम (physically disabled) कोल कर्मियों (coal workers) के परिजन लंबे समय से कर रहे हैं, लेकिन कोल इंडिया (Coal India) प्रबंधन न तो इन पीड़ित कोल कर्मियों (victimized coal workers) की गुहार को सुन रहा है और ना ही खुद की जेबीसीसीआई (JBCCI) के 9.4.0 नियम का पालन कर रहा है।
इन हालात में पीड़ित कोल कर्मियों (victimized coal workers) के परिजन आगामी 6 मार्च को सीआईएल (CIL) में कोयला भवन के समक्ष धरना देंगे और इस धरने को अनिश्चितकालीन धरने में भी तब्दील करने की योजना है।
इस धरने में कोल इंडिया (Coal India) की सहयोगी कंपनियों बीसीसीएल (BCCL), ईसीएल (ECL), सीसीएल (CCL), एसईसीएल (SECL) और मिनीरत्न एनसीएल (Miniratna NCL) समेत अन्य कंपनियों से भी पीड़ित कर्मियों को लेकर उनके परिजन शामिल होंगे। बता दें कि मेडिकल अनफिट (medical unfit) यानी 9.4.0 की मांग को लेकर इससे पहले पीड़ित कर्मियों के परिजनो ने पिछले दिनों 2 फरवरी को कोलकाता स्थित सीआईएल मुख्यालय (CIL Headquarters) के समक्ष धरना दिया था, जहां उन्हें 15 दिवस के भीतर इस मसले पर निराकरण का आश्वासन दिया गया था, लेकिन उन 15 दिनों की अवधि का समय भी अब पूर्ण हो चुका है और इसके बाद मेडिकल अनफिट (medical unfit) के मसले पर सीआईएल (CIL) न तो अब तक कोई निराकरण कर सका है और पूरी तरह से चुप बैठा है। जिससे पीड़ित कर्मियों के परिजनों के सब्र बाध भी टूट गया है और वह सभी अब फिर से कोल इंडिया मुख्यालय (CIL Headquarters) में धरना देने को मजबूर हो गए हैं।
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