‘पीएम आवास योजना’ के नाम पर 82 लाख की ठगी, हाइटेक ट्रेसिंग से किया गिरफ्तार | 82 lakh fraud in the name of ‘PM Awas Yojana’

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डीसीपी राजेश त्रिपाठी ने बताया, गिरफ्तार आरोपी का नाम जतिन भाई मानिया निवासी भावनगर (गुजरात) है। आरोपी ने खुद को मानिया द बिजनेस अंपायर कंपनी का डायरेक्टर बताते हुए इंदौर विकास प्राधिकरण की सरकारी योजनाओं में फ्लैट बुकिंग का टेंडर अपने पास होने का झूठा दावा किया। ऐसे में लोग उसके झांसे में आसानी से आ जाते थे। आरोपी ने अब तक 15 से 20 लोगों के साथ ठगी की है।

ऐसे हुआ खुलासा

पुलिस के अनुसार, आरोपी इंदौर समेत देश के कई शहरों में ठगी कर चुका है। आरोपी जतिन ने लोगों को अपने विश्वास में लिया और उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना में विभिन्न स्थानों पर सस्ते में मकान दिलवाने का झांसा दिया। उसने किस्तों में मकान की 10 से 20 फीसदी तक राशि भी ले ली। इस तरह उसने लोगों से 82 लाख रुपए ऐंठ लिए। किसी को कोई मकान नहीं दिलवाया और रुपए लेकर फरार हो गया। इस पर लोगों ने इंदौर पुलिस आयुक्त को लिखित शिकायत दी, जिसके आधार पर मार्च में इंदौर क्राइम ब्रांच ने मामला दर्ज किया। वह भागकर सूरत चला गया था।

यहां परवत गाम विकासनगर सोसायटी में रह रहा था। उसके बारे में एसओजी के सहायक पुलिस उप निरीक्षक जलूभाई को मुखबिर से पुख्ता सूचना मिलने पर पुलिस टीम ने आरोपी को देवध गांव चौराहे से गिरफ्तार किया। थाने लाकर की गई पूछताछ में उसने गुनाह कबूल कर लिया। एसओजी ने उसे इंदौर पुलिस के हवाले कर दिया है।

इंदौर नगर निगम के फ्लैट्स दिखाकर झांसा

आरोपी ने सतपुड़ा परिसर सुपर कॉरिडोर और अरावली परिसर भूरी टेकरी में बन रहे नगर निगम के फ्लैट्स दिखाए और कहा कि ये प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत हैं। फरियादी चंदन पाटिल और उनके दोस्तों से फ्लैट दिलवाने व मुनाफा देने के नाम पर अन्य लोगो को भी इस योजना में जोडा गया। इनमें नमन चौधरी, मोहित बांके, सौरभ पाटिल, गिरीश मेड़ा सहित कई लोगों के साथ करीब 82 लाख रुपए की धोखाधड़ी की गई है।

सूरत में स्कूटर व मुफ्त लाइसेंस पर भी ठगा

पुलिस के मुताबिक, जतिन हिस्ट्रीशीटर है। उसके खिलाफ सूरत व अहमदाबाद में पहले भी ३ केस दर्ज हो चुके हैं। 2017 में उसने सूरत में भी लोगों को सस्ते में स्कूटर दिलवाने व मुफ्त में ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने का झांसा देकर ठगी की थी वह अहमदाबाद में अवैध हथियार रखने के मामले में पकड़ा गया था। 2022 में उस पर सूरत के कापोद्रा थाने में नाबालिग से बलात्कार का मामला दर्ज हुआ था।

पुलिस ने हाइटेक ट्रेसिंग से किया गिरफ्तार

आरोपी की गिरफ्तारी के लिए इंदौर पुलिस ने 10 हजार का इनाम घोषित किया था। क्राइम ब्रांच ने तकनीकी विश्लेषण के बाद आरोपी को सूरत (गुजरात) से गिरफ्तार किया। पुलिस रिमांड में आरोपी से पूछताछ की जा रही है। डीसीपी त्रिपाठी ने बताया, आरोपी अकेले ही ठगी करता था। उसने अब तक 15-20 लोगों को अपना शिकार बनाया है। पुलिस अब मुंबई और अहमदाबाद में दर्ज मामलों में भी उससे पूछताछ करेगी।

इंदौर में दीपक बनकर किराए के कमरे में रहा

पुलिस ने बताया, जतिन भावनगर जिले के मान विलास गांव का मूल निवासी है। वह अपनी पहचान बदलकर अलग-अलग शहरों में रहता है। विभिन्न तरीकों से लोगों को अपने जाल में फंसाकर ठगी करता है। इंदौर में उसने लोगों को दीपक के रूप में अपनी पहचान दी थी। उसने वहां किराए पर कमरा लिया था। लोगों के रुपए अपने रूम पार्टनर के बैंक खाते के जरिए हासिल किए थे।

कई शहरों में अलग-अलग नाम से ठगी

आरोपी पहले अहमदाबाद में आरटीओ अधिकारी बताकर 10 लाख व मुंबई में सरकारी नौकरी के नाम पर 20 लाख ठग चुका है। अहमदाबाद, मुंबई व सूरत में धोखाधड़ी, बलात्कार व आर्म्स एक्ट के तहत प्रकरण पंजीबद्ध हैं।

फर्जी आधार कार्ड का किया इस्तेमाल

आरोपी अब तक कई नामों से पहचान बता चुका है। वह रूम पार्टनरों के आधार कार्ड लेकर पहचान बदलता रहा। आरोपी इतना शातिर है कि वह जिनका आधार कार्ड इस्तेमाल करता है, उनसे भी ठगी कर चुका है।



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