जर्जर स्कूल भवनों से बच्चों को जान का खतरा, बुरहानपुर एसडीएम ने लगाई फटकार | Children’s lives are in danger due to dilapidated school buildings, Burhanpur SDM reprimanded

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ग्राम बहदारपुर, लोनी, बिरोदा गांव का एसडीएम पल्लवी पुराणिक, तहसीलदार प्रवीण ओहरिया ने राजस्व अमले के साथ औचक निरीक्षण किया। बहादरपुर की एक प्राथमिक स्कूल में नए भवन के पास ही एक जर्जर पुराना भवन मिलने पर नाराजगी जाहिर की। प्रधान पाठक को पंचायत के नाम पत्र लिखने का कहकर पंचायत सचिव जफर कुरैशी को मौके पर ही बुलाकर तत्काल तोडऩे के निर्देश दिए गए। क्योंकि भवन के पास से ही विद्यार्थियों का आवागमन होता है।बिरोदा की एक स्कूल में भी पुराना खंडहर भवन मिलने पर उसे चिन्हित किया गया। गांव की आंगनवाड़ी केंद्रों पर भी पहुंचकर स्थिति देखी नए केंद्र आंगनवाडिय़ां संचालित मिली।

राजस्व अफसरों ने गांव में फार्मर रजिस्ट्री का कार्य भी देखा। शेष किसानों की आइडी बनने में आधार ओटीपी नहीं आने की समस्या बढ़ गई है। सर्वर डाउन होने से मोबाइल पर ओटीपी घंटों बाद तक नहीं आ रहा। जिसके कारण पटवारियों को पूरी प्रक्रिया फिर से दोहराना पड़ रही है,जबकि किसानों को शासन की सभी योजनाओं का लाभ अब फार्मर आइडी से ही मिलेगा।

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कलेक्टर ने मांगी रिपोर्ट

पत्रिका ने 9 जून के अंक में स्कूल के पुराने जर्जर भवन की दीवार गिरने का अंदेशा को लेकर खबर प्रकाशित की थी। कलेक्टर हर्ष सिंह ने शिक्षा, महिला एवं बाल विकास विभाग के अफसरों से जर्जर भवनों में संचालित स्कूल,आंगनवाड़ी सहित अन्य शासकीय कार्यालय की रिपोर्ट मांगी थी। अफसरों ने सुपरवाइजरों से एनओसी ली है कि उनके यहां पर कोई भवन जर्जर नहीं है।सित्यापन करने राजस्व विभाग के अफसर गांवों में भवनों का निरीक्षण कर रहे है।

चिन्हित कर तोड़े जाएंगे भवन

एसडीएम ने बताया कि बारिश के पूर्व जर्जर भवनों को चिन्हित कर तोडऩे की कार्रवाई होगी। ताकि इन भवनों से होने वाली दुर्घटनाओं को रोका जाए। निरीक्षण के दौरान निर्देश दिए गए है कि बारिश के समय टपक रही छत या जर्जर दीवारों के पास बच्चों को न बैठाया जाए। जहां पर भी इस तरह के जर्जर भवन मिल रहे है उन्हें तोड़ा जाएंगा साथ ही तहसीलदारों से भी अपने क्षेत्र की स्कूल, आंगनवाड़ी केंद्रों की रिपोर्ट ली जा रही है।

शहरी क्षेत्र में निगम की जिम्मेदारी

शहरी क्षेत्र में जर्जर भवनों को चिन्हित करने के साथ तोडऩे की जिम्मेदारी निगम अफसरों को दी गई है। वार्डस्तर पर हुए सर्वे के दौरान निगम द्वारा 142 जर्जर भवनों को चिन्हित कर नोटिस जारी किए गए थे, लेकिन उन्हें तोडऩे की कार्रवाई काफी धीमी होने से बारिश के समय यह किसी बड़े हादसे का कारण बन सकते है।



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